मुंबई। टाटा संस के अध्यक्ष रतन टाटा के उत्तराधिकारी की तलाश के लिए टाटा समूह ने एक पैनल का गठन किया है।
पैनल के पांचों सदस्यों के नामों का खुलासा शुक्रवार को टाटा समूह ने कर दिया। पैनल में टाटा संस के वाइस चेयरमैन एन ए सूनावाला भी शामिल है।
पैनल में दो वरिष्ठ समूह निदेशक आर के कृष्णकुमार और साइरस मिस्त्री के साथ समूह के सलाहकार और वकील शिरीन भरूचा और ब्रिटिश कारोबारी लॉर्ड एस के भट्टाचार्य भी शामिल है। टाटा समूह के चेयरमैन रतन टाटा दिसंबर 2012 में सेवानिवृत हो जाएंगे। पैनल में शामिल लॉर्ड भट्टाचार्य उद्योग सलाहकार एजेंसी वॉरविक मैन्युफैक्चरिंग ग्रुप और वॉरविक विश्वविद्यालय के संस्थापक है। रतन टाटा और लॉर्ड भट्टाचार्य काफी अच्छे दोस्त है और ब्रिटेन में समूह के विस्तार में भट्टाचार्य की भूमिका काफी महत्वपूर्ण रही है। शिरीन भरूचा और टाटा समूह का साथ 60 के दशक से है। वह समूह की करीब 80 कंपनियों की सलाहकार है। जबकि सूनावाला टाटा संस के वाइस चेयरमैन है और कृष्णकुमार व मिस्त्री निदेशक पद का कार्यभार संभाल रहे है। टाटा संस के निदेशक आर के कृष्ण कुमार ने बताया कि इस पर चर्चा की जा रही है और उत्तराधिकारी को अगले साल फरवरी या मार्च तक चुन लिया जाएगा। तभी उनके नाम की घोषणा भी की जाएगी। टाटा समूह में अभी 98 कंपनी हैं। और उसका कुल कारोबार 71 अरब डॉलर है। पूरी दुनिया भर में फैली इन कंपनियों में तीन लाख 57 हजार कर्मचारी हैं। इस समूह की स्थापना वर्ष 1868 में की गई थी। 72 वर्षीय टाटा वर्ष 2009 में फोब्र्स की दुनिया के सबसे शाक्तिशाली व्यक्तियों की सूची में 59वें पायदान पर थे। रतन टाटा ने कहा कि हम अगले छह सात महीने उत्तराधिकारी ढूंढने में जुट जाएंगे। मैंने पहले ही कहा था कि नैनों की लॉन्चिंग के बाद पद से हटने का सबसे सही समय होगा। मेरी रिटायरमेंट की सीमा में अभी थोडा वक्त है।